हरिद्वार समाचार– युवा भारत साधु समाज के राष्ट्रीय महामंत्री स्वामी रविदेव शास्त्री महाराज के सानिध्य में संतो ने बैरागी कैंप क्षेत्र में 108 पौधों का रोपण किया। इस दौरान हरिद्वार रुड़की विकास प्राधिकरण के सचिव ललित नारायण मिश्र भी मौजूद रहे। स्वामी रविदेव शास्त्री महाराज ने कहा कि विज्ञान के क्षेत्र में असीमित प्रगति तथा नए अविष्कारों की स्पर्धा के कारण आज का मानव प्रकृति पर पूर्णतया विजय प्राप्त करना चाहता है। इस कारण प्रकृति का संतुलन बिगड़ गया है और पेड़ पौधों का कटान, जनसंख्या वृद्धि होने के कारण लगातार बढ़ रहा है। इसलिए हमें अधिक से अधिक वृक्षारोपण करके मानव और प्रकृति के बीच संतुलन को बनाए रखना होगा। क्योंकि पर्यावरण संरक्षण से ही धरती पर जीवन का संरक्षण हो सकता है। पर्यावरण संरक्षण का समस्त प्राणियों के जीवन तथा इस धरती के समस्त प्राकृतिक परिवेश से घनिष्ठ से संबंध है। भविष्य में मानव जाति को प्राणवायु ऑक्सीजन की कमी ना हो, इसको देखते हुए सभी को जागरूक रहकर अपने आसपास और घरों में भी छोटे वृक्ष लगाने चाहिए। क्योंकि मानव जीवन पूर्ण रूप से प्रकृति पर आश्रित है। स्वामी हरिहरानंद महाराज ने कहा कि पर्यावरण संरक्षण का तात्पर्य है कि हम अपने चारों ओर के वातावरण को संरक्षित करें तथा उसे जीवन के अनुकूल बनाए रखें। पर्यावरण और प्राणी एक दूसरे पर आश्रित हैं। यही कारण है कि भारतीय चिंतन में पर्यावरण संरक्षण की अवधारणा उतनी ही प्राचीन है। जितना मानव जाति का ज्ञात इतिहास है। इसलिए हमें पर्यावरण के प्रति प्रेम की भावना रखते हुए उसका संरक्षण करने की आवश्यकता है और दूसरों को भी उसके लिए प्रेरित करना चाहिए। महंत सुतीक्षण मुनि एवं स्वामी दिनेश दास महाराज ने कहा कि बढ़ती जनसंख्या और असीमित औद्योगिकरण के कारण पृथ्वी पर लगातार प्रदूषण बढ़ रहा है। जो कि समस्त मानव जाति के लिए खतरे का सूचक है। कोरोना काल में ऑक्सीजन की कमी के कारण लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी। इससे संपूर्ण मानव जाति को सीख लेते हुए अधिक से अधिक वृक्षारोपण कर प्रकृति का संरक्षण करना चाहिए। प्रकृति हमें ईश्वर से मिला एक वरदान है। हमें अपने चारों ओर के परिवेश को हरा-भरा बनाए रखने की आवश्यकता है। विकास प्राधिकरण के सचिव ललित नारायण मिश्रा ने कहा कि प्रत्येक व्यक्ति को अपने जीवन काल में वृक्ष अवश्य लगाने चाहिए तभी प्रकृति और मानव का संतुलन बना रहेगा। पर्यावरण को बचाना हमारी सबसे पहली प्राथमिकता होनी चाहिए तथा प्रत्येक व्यक्ति को पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूक रहकर अपना सहयोग प्रदान करना चाहिए। इस दौरान डीएफओ हरिद्वार, संघ के क्षेत्रीय प्रचारक पदम सिंह, डा.यतीन्द्र नागयान, डा.नीता नागयान, महंत निर्मलदास, महंत श्रवण मुनि आदि उपस्थित रहे।