देहरादून समाचार— जिलाधिकारी डाॅ आशीष कुमार श्रीवास्तव ने वीडियोकान्फ्रेसिंग के माध्यम से राजस्व विभाग की समीक्षा बैठक की। बैठक में जिलाधिकारी ने सिविल कोर्ट के आवश्यक कार्यों के सम्बन्ध में शासकीय अधिवक्ताओं से जानकारी प्राप्त की। बैठक में जिलाधिकारी को बताया गया कि वर्तमान में सिविल कोर्ट में केवल जमानत एवं रिमाण्ड की गतिविधियां संचालित की जा रही है।  उन्होंने कहा कि भूमि खरीद-फरोख्त से सम्बन्धित फर्जीवाड़ा मामलों की प्रगति से अवगत कराया जाए तथा गावों में मीनार बन्दी की प्रगति की जानकारी भी दी जाए। बैठक में जिलाधिकारी ने महालेखाकार से प्राप्त राजस्व विभाग की 192 आॅडिट आपत्तियों का निस्तारण करने के निर्देश सम्बन्धित उप जिलाधिकारियों एवं पटल सहायकों को दिए। उन्होंने कहा कि आगामी एक सप्ताह के भीतर इनका निस्तारण करना सुनिश्चित करें। इसके अलावा राजस्व परिषद से सम्बन्धित आपत्तियों का 15 दिनों में निस्तारण आख्या प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। उन्होंने तहसील सदर, नजारत, अधिष्ठान, शत्रु सम्पत्ति मामलों के निस्तारण में तेजी लाए जाने पर बल दिया। इसके अतिरिक्त एआरओ स्तर पर 3 वर्ष से लम्बित मामलों के निस्तारण, कार्मिकों के पेंशन मामलों में सम्बन्धित को कार्यालय में बुलाकर आवश्यक प्रपत्र प्राप्त करते हुए तेजी से मामलो को निस्तारित करने के निर्देश सम्बन्धित अधिकारियों को दिए। उन्होंने सेवानिवृत्त कार्मिकों को समय से पेंशन प्राप्त न होने पर नाराजगी जताते हुए कहा कि सारे पेंशन प्रकरण जो लीगल हो सकते हैं उन्हे पूर्ण करने की कार्यवाही करें।
बैठक में जेलों में सजायाफ्ता एवं विचाराधीन कैदियों की मृत्यु की मजिस्ट्रीयल जांच, हेतु उप जिलाधिकारियों को नामित करने ,डाइन डिक्लेरियेशन, महत्वपूर्ण सन्दर्भों तथा ई-रजिस्ट्री पोर्टल पर प्राप्त शिकायतों के निस्तारण में तेजी लाने के निर्देश दिए। इसके अतिरिक्त मृतक आश्रितों के सम्बन्ध में चलाई जा रही गतिविधियों की जानकारी प्राप्त करते हुए अविलम्ब इन मामलों में जिस स्तर पर कार्यवाही की जा सकती हैं तत्काल करने को कहा। उन्होंने सभी उप जिलाधिकारियों को निर्देशित किया कि उनके कार्यालय/अधिष्ठान में कितने पद रिक्त हैं उसकी सूचना एक सप्ताह के भीतर प्रस्तुत करना सुनिश्चित करें।
इस अवसर पर जिलाधिकारी ने सभी उप जिलाधिकारियों को कहा कि मानसून सीजन के दौरान घटित होने वाली घटनाओं में मानव क्षति व पशुधन हानि  से सम्बन्धित परिवारों को अनुग्रह एवं अहैतुक सहायता 24 घण्टे के भीतर उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि मानसून के दौरान आपदा से होने वाले नुकसान की भरपाई हेतु धनराशि न हो तो उसकी मांग भी करें। उन्होंने बताया कि अभी से अपने-अपने क्षेत्रों में नाला, नालियों, खालों, नहरों की साफ-सफाई कराएं तथा गांवो तक सन्देश भी भेजे, जलभराव की समस्याओं को देखें तथा बाढ चैकियों को एक्टिवेट कर लें। उन्होंने अपने-अपने क्षेत्रों के ग्राम प्रधानों से वार्ता कर लें तथा तहसील स्तर पर आपदा कन्ट्रोलरूम स्थापित करते हुए उसकी जानकारी जनमानस को दें। साथ ही डेंगू उन्मूलन अभियान के तहत् क्षेत्र में सर्विलांस करने के साथ ही प्रत्येक शुक्रवार  को अपने से सम्बन्धित क्षेत्रों में भ्रमण कर एसी, कूलर, पुराने टायरों, गमलो, नर्सरियों तथा जलभराव वाले क्षेत्रों में जाकर लार्वा हटाने की कार्यवाही भी करें तथा लोगों को जागरूक भी करें। उन्होंने कहा कि यदि आप प्रो-एक्टिव होंगे तथा आपदा उतनी आसानी से निपटेगी।  इसके अलावा अपने-अपने क्षेत्रों में कोविड टीकाकरण बढ़ाने का प्रयास भी करें।
इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक अपराध प्रकाश चन्द्र आर्य, अपर जिलाधिकारी प्रशासन बीर सिंह बुदियाल, अपर जिलाधिकारी वि/रा गिरीश चन्द्र गुणवंत, नगर मजिस्टेªट कुश्म चैहान, विशेष भूमि अध्याप्ति अधिकारी अवधेश कुमार, प्रभारी अधिकारी प्रेमलाल, शासकीय अधिवक्ता राजीव आचार्य, मुख्य प्रशासनिक अधिकारी आशीष वर्मा समेत वीडियोकान्फ्रेसिंग से जुड़े उप जिलाधिकारी एवं तहसीलदार उपस्थित थे

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