हरिद्वार, 13 दिसम्बर। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद अध्यक्ष एवं श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी के सचिव श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने संदिग्ध परिस्थितियों में लापता हुए श्री पंच दिगम्बर अखाड़ा के बुजुर्ग संत स्वामी पवित्र दास महाराज का पता लगाने की मांग की है। अखाड़ा परिषद अध्यक्ष श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा कि स्वामी पवित्र दास महाराज बैरागी कैंप में श्रीमद् भागवत कथा की तैयारियां कर रहे थे। 10 दिसम्बर से कथा का आयोजन किया जाना था। लेकिन उससे पहले ही संदिग्ध परिस्थितियों में उनके लापता हो जाने से संत समाज में चिंता व्याप्त है। उन्होंने कहा कि सरकार व पुलिस प्रशासन को बुजुर्ग संत को जल्द से जल्द सकुशल बरामद करना चाहिए। अखाड़ा परिषद के महामंत्री एवं श्री पंच निर्मोही अनी अखाड़े के अध्यक्ष श्रीमहंत राजेंद्रदास महाराज ने कहा कि स्वामी पवित्र दास बुजुर्ग संत हैं। उनकी कुशलता को लेकर सभी संत चिंतित हैं। उन्होंने कहा कि स्वामी पवित्र दास महाराज के संयोजन में भव्य स्तर पर श्रीमद् भागवत कथा का आयोजन किया जाने वाला था। कथा की लगभग सभी तैयारियां हो चुकी थी। ऐसे में अचानक उनका लापता हो जाना संदेह उत्पन्न कर रहा है। संत समाज हैरान है कि ढूंऐ नहीं मिल रहे स्वामी पवित्र दास को जमीन निगल गयी या आसमान। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री व डीजीपी को स्वामी पवित्र दास का पता लगाने के लिए विशेष टीम का गठन करना चाहिए। अखाड़ा परिषद के कोषाध्यक्ष एवं श्री पंचायती अखाड़ा निर्मल के कोठारी महंत जसविंदर सिंह, अखाड़ा परिषद के राष्ट्रीय प्रवक्ता महंत गौरीशंका दास, दिगम्बर अखाड़े के महामंत्री महंत वैष्णव दास, महामंडलेश्वर स्वामी हरिचेतनानंद, स्वामी रविदेव शास्त्री, महंत विष्णु दास, महंत रघुवीर दास, श्री रामानंदीय वैष्णव मंडल के अध्यक्ष महंत नारायण दास पटवारी, महंत सूरज दास, महंत दुर्गादास, बाबा हठयोगी, महंत गोविंददास, महंत राघवेंद्र दास, महंत प्रेमदास, महंत प्रह्लाद दास, स्वामी ऋषिश्वरानंद, महंत रूपेंद्र प्रकाश, महंत कपिल मुनि, महंत जयराम दास, महंत रामानंद सरस्वती, स्वामी शिवानंद भारती आदि संतों ने भी सरकार व पुलिस प्रशासन से जल्द से जल्द स्वामी पवित्र दास को तलाश करने की मांग की है।
गौरतलब है कि दिगम्बर अखाड़े के बुजुर्ग संत स्वामी पवित्र दास 10 दिसम्बर से बड़े स्तर पर श्रीमद् भागवत कथा कराने की तैयारियों में जुटे हुए थे। कथा में देश के तमाम बड़े संतों को आमंत्रित किया गया था। कथा के आयोजन के लिए टेंट आदि भी लग चुके थे। लेकिन आयोजन से पूर्व 5 दिसम्बर को दो घंटे में लौटकर आने की बात कहकर आश्रम से निकले स्वामी पवित्र दास देर शाम तक भी वापस नहीं लौटे। उनके अचानक संदिग्ध परिस्थितियों में लापता हो जाने से संत समाज हैरान और उनकी कुशलता के लिए चिंतित है