हरिद्वार समाचार– अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्रीमहंत नरेंद्र गिरी की मौत के बाद बलवीर गिरी उनके उत्तराधिकारी के रूप में बाघंबरी मठ के महंत होंगे। निंरजनी अखाड़े में हुई अखाड़े की कार्यकारिणी की बैठक के बाद निरंजन पीठाधीश्वर आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरी महाराज ने बलवीर गिरी को बाघंबरी मठ का महंत नियुक्त किए जाने की घोषणा करते हुए बताया कि पांच अक्टूबर को प्रयागराज में सभी तेरह अखाड़ों की मौजूदगी में उनका मठ के महंत पद पर पट्टाभिषेक किया जाएगा।
बैठक के बाद पत्रकारों को जानकारी देते हुए निरंजनी अखाड़े के आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरी महाराज ने बताया कि श्रीमहंत नरेंद्र गिरी ने रजिस्ट्रर्ड वसीयत कर स्वामी बलवीर गिरी को अपना उत्तराधिकारी घोषित किया था। वसीयत के अनुसार स्वामी बलवीर गिरी को पांच अक्टूबर को प्रयागराज में अखाड़ों के प्रतिनिधियों व संत समाज की मौजूदगी में मठ का महंत नियुक्त किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अखाड़े की परंपरांओं के अनुसार अखाड़े के पांच सचिवों की देखरेख में महंत के रूप में स्वामी बलवीर गिरी मठ का संचालन करेंगे। इसके अलावा एक सुपरवाईजरी बोर्ड का गठन भी किया जाएगा। जो मठ के कामकाज पर नजर रखेगा। स्वामी कैलाशानंद गिरी महाराज ने कहा कि अखाड़ें की पंरपरांओं, प्रतिष्ठा पर किसी प्रकार की आंच नहीं आने दी जाएगी।
निरंजनी अखाड़े के सचिव श्रीमहंत रविन्द्रपुरी महाराज ने कहा कि बाघंबरी मठ की स्थापना ब्रह्मलीन महंत बालगिरी महाराज ने की थी। श्रीमहंत नरेंद्र गिरी की मौत के बाद रिक्त हुए मठ के महंत पद पर स्वामी बलवीर गिरी को नियुक्त किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अखाड़े की परंपरांओं के अनुसार मठ का संचालन किया जाएगा। इस दौरान अखाड़े के सचिव श्रीमहंत रामरतन गिरी, महामण्डलेश्वर स्वामी ललितानंद गिरी, स्वामी आलोक गिरी, कारोबारी उमेश भारती, स्वामी पूर्णानंद, स्वामी मधुरवन, स्वामी रघुवन, स्वामी राजेश गिरी आदि अखाड़े के संत मौजूद रहे।